सरकार द्वारा अरबों रुपये खर्च करने के बाद भी वाल्मिकी टाइगर रिजर्व मे जंगली जानवर सुरक्षित नहीं
वाल्मिकी टाइगर रिजर्व मे पिछले कुछ समय से बाघ एवं अन्य जंगली जानवर की मौत में इजाफा हुआ है परंतु अधिकारियों के ऊपर तनिक भी असर होता दिखाई नहीं दे रहा ।
पिछले कुछ महीनों में हुई जानवरों की मौत और उनके तरीके संदेह जी स्थिति पैदा करते हैं परंतु अधिकारी इस मामले में कोई जानकारी उपलब्ध नहीं कराते , यहां तक की पटना में बैठे उच्च अधिकारियों द्वारा भी इस मामले में कोई संज्ञान नहीं लिया जाता।
पुनः आठ महीने की शावक बाघिन की संदेहास्पद मौत ने वन अधिकारियों द्वारा वन के अंदर जंगली जीवों की निगरानी व्यवस्था पर सवाल खड़े करता है अधिकारियों की बातों पर विश्वास किया जाये तो समझ मे यह नहीं आता की किस कारण बाघ आपस मे लड़ रहे है।
बार बार कोशिश के बाबजूद अधिकारियों का हमारे सवालों का जवाब नहीं देना भी इन हादसों पर शक पैदा करता है।